हाइड्रोकार्बन महानिदेशालय (डीजीएच)

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महानिदेशक का सन्देश

DGH Image प्रिय हितधारकों, मुझे हाइड्रोकार्बन महानिदेशालय (डीजीएच) टीम के सदस्य के रूप में समृद्ध अपस्ट्रीम तेल और गैस क्षेत्र का हिस्सा बनने का सौभाग्य और सम्मान मिला है।

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हमारे बारे में

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हाइड्रोकार्बन महानिदेशालय (डी.जी.एच.) की स्थापना भारत सरकार के संकल्प द्वारा पेट्रोलियम और प्राकृतिक गैस मंत्रालय के प्रशासनिक नियंत्रणाधीन 8 अप्रैल 1993 को हुई | डी.जी.एच. की स्थापना का उद्देश्य पर्यावरण, सुरक्षा, पेट्रोलियम गतिविधियों के तकनीकी, और आर्थिक पहलुओं में संतुलन बनाए रखते हुए तेल और प्राकृतिक गैस संसाधनों के कुशल प्रबंधन को बढ़ावा देना है ।
डी.जी.एच.को कई जिम्मेदारियां सौंपी गईं, जैसे – नई अन्वेषण लाइसेंस नीति (नेल्प) का क्रियान्वयन, खोजे गये क्षेत्रों और अन्वेषण ब्लॉकों के लिये उत्पादन भागीदारी संविदाओं (पी.एस.सी.) से सम्बन्धित मामले, अन्वेषण एवं उत्पादन क्षेत्र में निवेश को प्रोत्साहित करना, उत्पादन क्षेत्रों के आगारों (रिज़रवायर) की  उत्पादकता की समीक्षा तथा इस क्षेत्र के कार्यकलापों को मानीटर करना | इसके अतिरिक्त, डी.जी.एच. भावी अन्वेषणों के लिये नए गैर अन्वेषित क्षेत्रों को प्रस्तावित करने और गैर-परंपरागत हाइड्रोकार्बन ऊर्जा संसाधनों, जैसे – कोल बेड मीथेन (सी.बी.एम.) तथा गैस हाइड्रेट्स और तेल शेल जैसे हाईड्रोकार्बन ऊर्जा स्त्रोंतों को विकसित करने सम्बन्धी कार्य करता है |

 

  • GL GP-12/2/2025-DGH /ENQ-244
    Engaging Expert for Audit of Conventional and Unconventional Resources [Project Subset-C] under HRAS-2025
    Download Tender (Size:167428 Bytes)
  • GEM/2025/B/6141037
    Financial Audit Services - Review of Financial Statements, Audit report, Financial Reporting Framework; CAG Empaneled Audit or CA Firm
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